अररिया: बिहार के अररिया जिले में एससी एसटी एक्ट के मामले में एक निर्दोष परिवार को फ़साने का मामला प्रकाश में आया है। दलित युवक विनोद रजक द्वारा 4 लोगो के खिलाफ नामजद तहरीर देते हुए जातिसूचक शब्दों, धारधार हथियार से जानलेवा हमला, महिलाओ के कपड़े फाड़ने के साथ लूटपाट की धाराओं में मामला दर्ज कराया गया था।
फसाये गए युवक दिलवर तिवारी ने हमें बताया कि उन्होंने पुरे घटना का वीडियो अपने मोबाइल में बना लिया था। बावजूद उसके पुलिस द्वारा झूठे केस में उन्हें परेशान किया जा रहा है। परिजनों ने बताया कि युवक तीन साल पहले भी एक झूठा हरिजन एक्ट का मामला उनपर दर्ज कर चूका है। अब वीडियो आने के बाद भी युवक उनसे मामले को वापस लेने के लिए पैसे की मांग कर रहा है।
दरअसल घटना 27 फरवरी की जहां पहले से सड़क को लेकर विवाद में दलित पक्ष ब्राह्मण परिवार से लड़ने झगड़ने लगा था। इसी गहमा गहमी में दलित युवक ने एससी एसटी एक्ट में फ़साने की धमकी देते हुए खुद का ही सर ईंट से फोड़ लिया था। जिसकी वीडियो मोबाइल में कैद हो गई। बावजूद इसके एससी एसटी थाने में जाकर दलित युवक द्वारा गंभीर आरोपों में ब्राह्मण पक्ष पर ही मुकदमा दर्ज करा दिया गया।
महिला को अर्धनग्न, दतिया से सर फोड़ने व लूटपाट का लगाया झूठा आरोप
वीडियो में एकाएक दलित युवक द्वारा ईंट उठाकर खुद के सर पर वार करते हुए देखा जा सकता है। वहीं आक्रोश में वह अपने मोटर बाइक पर बैठकर थाने चले जाता है। इसी बीच वीडियो बनाते देख दलित युवक की पत्नी दूसरे पक्ष पर हमलावर हो जाती है।
तहरीर में युवक ने उसके दलित होने के चलते हमला किये जाने की बात कही है।
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दो बार दर्ज कर चूका है एससी एसटी एक्ट
दलित परिवार इससे पहले भी ब्राह्मण पक्ष पर ज़मीन विवाद को लेकर एससी एसटी एक्ट में मुकदमा दर्ज कर चूका है। वहीं मामला वापस लेने के लिए मोटी रकम की मांग भी करता है। इस दौरान विवाद होने पर दूसरे पक्ष ने अपना मोबाइल चालू किया हुआ था जिससे युवक की सारी करतूत मोबाइल में कैद हो गई।
बिना जांच किये पीड़ित परिवार को किया गया परेशान, घर बेच कर जाने को मजबूर
परिजनों ने हमें बताया कि सभी सबूत होने के बावजूद उनपर गंभीर धाराओं में मामला दर्ज कर परेशान किया गया है। गिरफ़्तारी के डर से परिवार के नामजद सदस्य घर नहीं जा रहे है। बार बार फर्जी मामलो के चलते परिजनों ने अब घर बेचकर पलायन की बाते कही है।
पुलिस ने कहा जांच में मामला पाया झूठा, नहीं होगी कोई कार्यवाई
पुलिस ने युवक की तहरीर पर 341, 313, 307, 354(d), 379, 504, 506/34 IPC में मामले को दर्ज किया था व कल ही मामले की जांच को पूर्ण कर घटना को फर्जी पाया गया है। हालाँकि परिजनों को अभी तक इसकी आधिकारिक सुचना नहीं दी गई है।
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