नई दिल्ली: देश में हुईं हालिया रेप की घटनाओं में जाति ढूढ़ने वालों को जवाब मिला है।
हाल में उत्तरप्रदेश राजस्थान महाराष्ट्र मध्यप्रदेश सहित कई राज्यों में रेप की घटनाएं घटी लेकिन मुख्य मीडिया व विपक्षी दलों, दलित संगठनों, पत्रकारों ने केवल उत्तरप्रदेश की उन घटनाओं को ही उठाया जिसमें आरोपी सवर्ण पाए गए। लेकिन उन घटनाओं को दबा दिया गया झहाँ आरोपी दूसरे धर्म से आते हैं।
इस दोहरे मापदंड पर कई पत्रकारों ने सवाल भी खड़े किए हैं। इसी कड़ी में दिग्गज पत्रकार व एंकर रोहित सरदाना ने घटनाओं की बयानबाजी पर कहा कि “राजस्थान वाला बलात्कार, उत्तरप्रदेश वाले बलात्कार से कम वीभत्स है इसलिए उसपे सवाल ना उठाओ। ये कह कर बलात्कारों का तुलनात्मक-अध्ययन करने वाले महान बुद्धिजीवियों, राजनेताओं को नमन है।”
बलात्कार के आरोपी के जाति प्रमाण पत्र ?
आगे एंकर ने कहा कि “हाथरस में बलात्कार के आरोपी की जाति का प्रमाण-पत्र ढूँढ के धरना देंगे। और बलरामपुर में बलात्कार के आरोपी का नाम भी मुँह से न निकल जाए – इतनी संवेदनशीलता बरतने वाले बुद्धिजीवियों, राजनेताओं को भी नमन है।”
राजस्थान की घटनाओं पर सरकार पर पत्रकार का हमला:
तमाम घटनाओं पर जाने माने एंकर व ABP पत्रकार विकास भदौरिया ने कहा कि “हाथरस के बाद तीन जगह पर रेप की घटनये हुई, बुलंदशहर में रिजवान, आजमगढ़ में दानिश और बलरामपुर में शाहिद और साहिल, रेप की घटनाओं के ये सभी आरोपी पकड़े गए।”
आगे उन्होंने राजस्थान सरकार पर सवाल उठाते हुए कहा “राजस्थान के सीकर में 8 वीं में पढ़ने वाली छात्रा का रेप हुआ, आरोपियों ने रेप का वीडियो बनाया और दोस्तो को दे दिया, कुछ दिन बाद रेप का वीडियो दिखा कर दूसरे लड़के ने रेप किया, समय पर कार्रवाई होती तो दोबारा रेप नहीं होता, अशोक गहलोत कब तक भागोगे।”
आगे उन्होंने कांग्रेस नेताओं पर सवाल खड़े कर कहा “विभत्स: राजस्थान के सीकर में 8 वीं में पढ़ने वाली छात्रा का रेप हुआ, आरोपियों ने रेप का वीडियो बनाया और दोस्तो को दे दिया, कुछ दिन बाद रेप का वीडियो दिखा कर दूसरे लड़के ने रेप किया, समय पर कार्रवाई होती तो दोबारा रेप नहीं होता, प्रियंका और राहुल हाथरस पर ही क्यों बोल रहे हैं।”
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