झारखण्ड में मेरिट की फिर हत्या! विदेश में पढ़ाई का सपना टूटा, 50 में से 44 सीट आरक्षित

रांची: झारखंड सरकार ने मरांग गोमके जयपाल सिंह मुंडा पारदेशीय छात्रवृत्ति योजना में बड़ा बदलाव करते हुए अब 50 छात्र-छात्राओं को विदेश में उच्च शिक्षा प्राप्त करने का मौका देने का निर्णय लिया है। पहले यह अवसर केवल 25 छात्रों को ही दिया जाता था। इस फैसले से अनुसूचित जनजाति (ST), अनुसूचित जाति (SC), अल्पसंख्यक और पिछड़ा वर्ग के छात्रों को लाभ मिलेगा, लेकिन अनारक्षित वर्ग के छात्रों के लिए कोई अवसर नहीं छोड़ा गया है।

छात्रवृत्ति में कैसे हुआ बंटवारा?

नए फैसले के अनुसार, 50 छात्र-छात्राओं को विदेश में उच्च शिक्षा के लिए भेजा जाएगा। इसका वर्गीकरण इस प्रकार है: अनुसूचित जनजाति (ST) के 20 छात्र; अनुसूचित जाति (SC) के 10 छात्र; अल्पसंख्यक वर्ग के 6 छात्र; पिछड़ा वर्ग के 14 छात्र।हालांकि, इस पूरी योजना में अनारक्षित वर्ग के छात्रों को शामिल नहीं किया गया है। इससे इस वर्ग के छात्रों के लिए विदेश शिक्षा के अवसर सीमित हो गए हैं। ऐसे में सवाल उठता है कि अनारक्षित वर्ग के छात्रों के लिए क्या सरकार कोई अलग योजना लाएगी या नहीं?

अल्पसंख्यक छात्रों को मुफ्त कोचिंग

सरकार ने प्रतियोगी परीक्षाओं में भी अल्पसंख्यक वर्ग के छात्रों के लिए एक विशेष योजना शुरू की है। इसके अंतर्गत यूपीएससी, जेपीएससी, एसएससी और बैंकिंग परीक्षाओं की तैयारी के लिए निःशुल्क कोचिंग उपलब्ध कराई जाएगी। साथ ही, इंजीनियरिंग और मेडिकल संस्थानों में प्रवेश परीक्षा की तैयारी के लिए भी राज्य स्तरीय मुफ्त कोचिंग दी जाएगी। यह योजना निश्चित रूप से अल्पसंख्यक छात्रों के लिए एक बड़ा अवसर है, लेकिन अनारक्षित वर्ग के छात्रों के लिए इस प्रकार की कोई सुविधा नहीं दी गई है। इससे साफ होता है कि प्रतियोगी परीक्षाओं में भी अनारक्षित छात्रों को इस योजना का लाभ नहीं मिलेगा।

सरकारी कार्यालयों में ऊर्जा सुरक्षा जमा माफी

मंत्रिपरिषद ने एक और अहम फैसला लिया है, जिसके तहत राज्य और केंद्रीय सरकारी कार्यालयों एवं न्यायमंडलों में ट्रांसफार्मर लगाने के लिए देय ऊर्जा सिक्योरिटी डिपॉजिट की राशि को माफ कर दिया गया है। इससे इन कार्यालयों में बिजली की आपूर्ति में कोई बाधा नहीं आएगी, जिससे कामकाज में सुधार होने की उम्मीद है। यह फैसला सरकारी विभागों के कामकाज में सुधार लाने और ऊर्जा सुरक्षा सुनिश्चित करने की दिशा में उठाया गया एक महत्वपूर्ण कदम है।

रिम्स के नए भवन और स्कूल डायरी वितरण की योजना

मंत्रिमंडल ने रांची के रिम्स अस्पताल में नए भवन के निर्माण और पुराने भवन के जीर्णोद्धार के लिए 738 करोड़ रुपये खर्च करने की मंजूरी दी है। इस निर्णय से रिम्स की सेवाओं में सुधार होगा और मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं मिलेंगी। इसके साथ ही, राज्य के सभी सरकारी विद्यालयों में कक्षा 9 से 12वीं तक के छात्रों के लिए स्कूल डायरी छापने और वितरण की भी मंजूरी दी गई है। यह कदम छात्रों की शैक्षणिक प्रगति और अनुशासन को बेहतर तरीके से मॉनिटर करने के उद्देश्य से लिया गया है।


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