चंडीगढ़: हरियाणा सरकार प्रदेश में जबरन धर्मांतरण विरोधी कानून बनाने की तैयारी में है जिसका एक मसौदा भी जल्द तैयार किया जाएगा।
मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर आज यहां राज्य सरकार के कार्यकाल के 2500 दिन पूरे होने के अवसर पर प्रेस वार्ता को संबोधित कर रहे थे। इस दौरान मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने अपने 2500 दिनों के कार्यकाल में भ्रष्टाचार मुक्त, पेपरलैस और फेसलेस शासन के एक नए युग की शुरुआत करने तथा जातिवाद, क्षेत्रवाद और जिलेवार भेदभाव से ऊपर उठते हुए हरियाणा के विकास की एक नई इबारत लिखी है।
जबरन धर्मांतरण के मुद्दे पर बोलते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा के कई हिस्सों से (जबरन) धर्म परिवर्तन की घटनाएं सामने आ रही हैं। ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए हमें एक कानून बनाने की जरूरत है… एक अध्ययन किया गया है। जल्द ही कानून का मसौदा तैयार किया जाएगा। हम देखेंगे कि इसे अध्यादेश के रूप में पेश किया जाए या विधानसभा में पेश किया जाए।
किसानों के मुद्दे पर उन्होंने कहा कि किसानों के हित के लिए कल्याणकारी योजनाओं से लेकर अंत्योदय की भावना से गरीब से गरीब व्यक्ति का उत्थान करके, युवाओं के लिए पर्याप्त रोजगार के अवसर प्रदान करके और आधारभूत संरचना पर जोर देते हुए हरियाणा के समग्र विकास को सुनिश्चित किया है। अब राज्य सरकार ऐसी योजनाओं पर ध्यान केंद्रित कर रही है, जिसमें ईज ऑफ लिविंग की दिशा में तेजी से आगे बढ़ते हुए प्रदेशवासियों के आर्थिक उत्थान के साथ-साथ हैप्पीनेस इंडेक्स को बढ़ाना है।
मनोहर लाल ने कहा कि मुझे यह कहते हुए गर्व हो रहा है कि हमारी सरकार ने पिछले 2500 दिनों में जिस तरह के विकास कार्य, अपनी तरह की नई पहल, लोगों के कल्याण के लिए नई परियोजनाओं की शुरुआत करने से लेकर भविष्य का रोड मैप तैयार करने जैसे कार्य किए हैं, पिछली सरकारें अपने 50 वर्षों के कार्यकाल में भी पूरा करने में विफल रही।
मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्ष 2014 में जब उन्होंने मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली थी, तब से 2500 दिनों में राज्य सरकार ‘सबका साथ सबका विकास-सबका विश्वास-सबका प्रयास’ और ‘हरियाणा एक हरियाणवी एक’ के मंत्र पर चलते हुए सभी 90 विधानसभा क्षेत्रों के समान विकास को सुनिश्चित करते हुए हरियाणा को विकास पथ पर तेजी से ले जाने के लिए समर्पित रूप से काम कर रही है।