भोपाल- बीते दिन 4 जून रविवार को प्रदेश के समस्त ब्राह्मण संगठनों के आव्हान पर ब्राह्मण समाज मध्य प्रदेश के नेतृत्व में मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल के जंबूरी मैदान में ब्राह्मण महाकुंभ “हुंकार रैली” का आयोजन किया गया, जिसमें प्रदेश भर के ब्राह्मणों के साथ-साथ मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान भी शामिल हुए। जहां उन्होंने ब्राह्मणों को सनातन धर्म और संस्कृति का संरक्षक बताते हुए कई घोषणाएं की हैं।
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने मंच से कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि जैसा कि हम पहले ही तय कर चुके हैं कि पाठ्य पुस्तकों में भगवान परशुराम जी की गाथा पढ़ाई जाएगी और मंदिरों की जमीनों की नीलामी अधिकारी या कलेक्टर नहीं, बल्कि मंदिरों के पुजारी ही करेंगे।
भगवान परशुराम जन्मोत्सव पर रहेगा शासकीय अवकाश
ब्राह्मण महाकुंभ में पहुंचे हजारों ब्राह्मणों को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने ऐलान किया कि हमने फैसला लिया है कि भगवान परशुराम जी के जन्मोत्सव के दिन प्रदेश में शासकीय अवकाश रहेगा। संस्कृत विधालयों के पहली कक्षा से पांचवीं तक के विधार्थियों के लिए 8 हजार रुपये और कक्षा छठवीं से बारहवीं तक के विधार्थियों के लिए 10 हजार रुपये दिए जाएगें। इतना ही नहीं जिन मंदिरों के पास खुद की जमीन नहीं है, उन मंदिर के पुजारियों को भी 5 हजार रुपये प्रतिमाह दिए जायेगें। वही ब्राह्मण समाज की मंदिरों के सर्वे वाली मांग को भी मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने स्वीकार कर लिया हैं।
वहीं ब्राह्मण आयोग की गठन की मांग पर मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने कहा इस मामले में सरकार को कोई आपत्ति नहीं है, इस विषय पर उच्चाधिकारियों से बातचीत की जाएगी। साथ ही ब्राह्मण समाज के बच्चों के लिए छात्रावास की मांग पर मुख्यमंत्री ने उपलब्धता के आधार पर जमीन की व्यवस्था करने का आश्वासन भी दिया हैं।
इतना ही नहीं मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि समाज के गरीब विधार्थियों की मेडिकल और इंजीनियरिंग की पढ़ाई का खर्चा भी सरकार के द्वारा उठाया जाएगा, वहीं राजनीति में समाज के लोगों को पर्याप्त प्रतिनिधित्व के लिए
टिकट की मांग पर उन्होंने पल्ला झाड़ते हुए कहा कि ये अध्यक्ष जी की जिम्मेदारी हैं। उन्होंने आगे कहा कि समाज का पर्याप्त नेतृत्व रहें, इस बात का ध्यान मैं भी रखूंगा।
Kapil reports for Neo Politico Hindi.