कोलंबो (SL) : आतंकी हमले के बाद श्री लंका में बुर्क़े पर प्रतिबंध लगाने के लिए संसद में प्रस्ताव रखा गया है।
श्रीलंका में राष्ट्रीय सुरक्षा के मद्देनजर वहां के संसद प्रतिनिधि नें कड़े इंतजामों की वक़ालत की है। हाल ही में श्री लंकाई संसद की सेक्टरल ओवरसाइट कमेटी ने वहां की संसद को एक विशेष रिपोर्ट सौंपी है। जिसमें सार्वजनिक स्थानों पर बुर्क़ा सहित सभी प्रकार के चेहरे को ढंकने वाली वस्तुओं पर प्रतिबंध लगाने का प्रस्ताव किया है।
इस समित के अध्यक्ष मालिथ जयतिलके हैं जिनके द्वारा पेश की गई रिपोर्ट में सिफारिश की गई थी कि “2019 में हुए ईस्टर संडे जैसे आतंकवादी हमलों से बचने के लिए यह आवश्यक था।”
इसके अलावा ये भी कहा कि कई देशों ने पहले ही बुर्का पर प्रतिबंध लगा दिया है और सीरिया में ISIS मुख्यालय पर भी 5 सितंबर, 2019 को बुर्का पर प्रतिबंध लगा दिया गया है।
रिपोर्ट ने सुझाव दिया है कि पुलिस अधिकारी किसी भी व्यक्ति को सार्वजनिक स्थान पर चेहरा ढंकने वाली वस्तुओं को हटाने के लिए किसी भी व्यक्ति से अनुरोध कर सकता है ताकि उस व्यक्ति की पहचान हो सके। और उस अनुरोध का अनुपालन नहीं किया जाता है तो पुलिस अधिकारियों के पास बिना वारंट व्यक्ति को गिरफ्तार करने का अधिकार होना चाहिए।
Oversight Committee recommends ban on Burqa & religious partieshttps://t.co/PMnzOqo0Li #lka #Srilanka
— Vikalpa (@vikalpavoices) February 24, 2020
रिपोर्ट में कथित तौर पर यह भी प्रस्ताव रखा गया है कि मदरसा संस्थानों (इस्लामिक धार्मिक स्कूलों) में पढ़ने वाले सभी छात्रों को तीन साल के भीतर शिक्षा मंत्रालय के तहत एक राज्य स्कूल में जोड़ने की उम्मीद है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मुस्लिम धार्मिक और सांस्कृतिक मामलों के विभाग के तहत मदरसा संस्थानों की निगरानी और नियमन के लिए एक विशेष समिति की स्थापना की जानी चाहिए, जिन्हें संस्थानों द्वारा इस्तेमाल की जाने वाली पाठ्य पुस्तकों और पाठ्यक्रम पर नजर रखने की उम्मीद है।
हालांकि श्री लंका में ईस्टर सन्डे हमले के बाद जब पूर्व राष्ट्रपति मैत्रीपाला सिरिसेना नें चेहरे को ढँकने पर एक आपातकालीन प्रतिबंध लगाया था तो उसके लिए काफी आलोचना की गई थी।