मैनपुरी (UP): रॉफेल उड़ाने वाले जांबाज पायलट ने भी RSS संचालित स्कूल से पढ़ाई की थी।
भारतीय वायु सीमा में पांच दबंग लड़ाकू राफेल विमान दाखिल हो चुके हैं। राफेल विमान अंबाला एयरबेस में सुरक्षित लैंड कर चुके हैं। विमानों के स्वागत के लिए बेस पर वॉटर सेल्यूट दिया गया। फ्रांस से राफेल लड़ाकू विमान भारत लाने वाले पांच पायलटों में से एक RSS संगठन द्वारा संचालित स्कूलों सरस्वती शिशु मंदिर से भी हैं।
स्थानीय सूचनाओं के मुताबिक इस टीम में उत्तरप्रदेश के मैनपुरी के लाल मोहल्ला देवपुरा निवासी विंग कमांडर दीपक चौहान भी शामिल हैं। दुखहरण सिंह चौहान और कमलेश चौहान के पांच बेटों में सबसे छोटे दीपक चौहान शुरू से ही पढ़ने में बहुत मेधावी रहे हैं। दीपक चौहान की शुरुआती शिक्षा सरस्वती शिशु मंदिर में हुई और कक्षा छः से बारहवीं तक की शिक्षा सैनिक स्कूल घोड़ाखाल नैनीताल में हुई। विंग कमांडर दीपक चौहान की माँ कमलेश चौहान ने बताया कि वर्ष 2003 में दीपक चौहान एन.डी.ए की परीक्षा में इंडिया टॉप किया था।
विंग कमांडर दीपक चौहान का विवाह वर्ष 2016 में मेजर जनरल रवींद्र सिंह भदौरिया की बेटी स्नेहा के साथ हुआ था।विंग कमांडर दीपक चौहान की पत्नी स्नेहा चौहान आर्किटेक्ट इंजीनियर हैं।विंग कमाण्डर दीपक चौहान की माँ कमलेश चौहान ने बताया कि उनके परिवार के लोग दीपक की इस शानदार उपलब्धि से बहुत खुश हैं लेकिन कोरोना के चलते उनके यहाँ कोई जश्न नहीं मनाया जाएगा।
Sq Ldr Deepak Chauhan, one of the pilots who brought Rafale jets yesterday to India, took his initial education, till Class V, from a Vidya Bharati school.
— Vidya Bharati (@VidyaBharati10) July 30, 2020
चीन को टक्कर देगा भारत का रॉफेल:
रॉफेल जेट विमान के वायुसेना मे शामिल होने से इसकी ताकत कई गुना बढ़ जाएगी। सभी 5 राफेल को अंबाला बेस कैंप में तैनात किया जाएगा। भारतीय राफेल के मुकाबले चीन में चेंगदू J-20 (Chengdu J-20) और पाकिस्तान में एफ-16 लड़ाकू विमान है। लेकिन पूर्व वायुसेना प्रमुख धनोबा ने कहा कि “रॉफेल गेम चेंजर है, चीनी J20 इसके करीब भी नहीं है।”
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