45 वर्षीय ब्राह्मण युवक की गोली मारकर हत्या, सड़क किनारे पड़ा मिला शव, चार गिरफ्तार

अंबेडकर नगर- उत्तरप्रदेश के अंबेडकरनगर जिले में बेवाना थाना क्षेत्र के संगिया नारायणपुर में रूपये के लेन-देन में एक 45 वर्षीय युवक विनोद उपाध्याय की गोली मारकर बेरहमी से हत्या कर दी, आरोपियों ने मृतक की हत्या कर शव को सड़क किनारे फेंक दिया। हालांकि पुलिस ने इस पूरे मामले का खुलासा करते हुए चौबीस घंटे के भीतर घटना को अंजाम देने वाले मुख्य आरोपी सुनील यादव, अनूप यादव, रवि यादव और यशवंत यादव को गिरफ्तार कर लिया हैं। जबकि एक अन्य आरोपी अभी भी फरार बताया जा रहा है, पुलिस ने घटना में इस्तेमाल की गई पिस्टल और चापड़ को भी बरामद कर लिया है।

पुलिस अधीक्षक डाॅ कौस्तुभ ने बताया कि शनिवार सुबह संगिया नारायणपुर में एक युवक का शव सड़क किनारे पड़े होने की सूचना प्राप्त हुई थी, शव के बगल में ही मृतक बाइक भी पड़ी हुई थी। वहीं सूचना मिलने पर जब पुलिस घटना स्थल पर पहुंची और जांच पड़ताल की, जिसमें मृतक की पहचान 45 वर्षीय विनोद उपाध्याय पुत्र बाबूराम उपाध्याय निवासी उस्मापुर थाना मालीपुर के रूप में हुई। इसके बाद मृतक के परिजनों की शिकायत पर पुलिस ने सुनील यादव, यशवंत यादव पिता राजमन यादव के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर मामले की जांच शुरू कर दी।

उधार वापस मांगा तो उतारा मौत के घाट

पुलिस के अनुसार मृतक विनोद उपाध्याय का मुख्य आरोपी सुनील यादव पर लाखों रुपए का लेनदेन था और इसी लेनदेन को लेकर विनोद सुनील के साथ रोक टोक कर अपने पैसे वापस मांगता था, जिसमें सुनील को बेइज्जती महसूस होती थी। वहीं कभी-कभी विनोद अपने पैसे लेने के लिए सुनील के घर भी पहुंच जाता था। इसी बीच शुक्रवार की रात विनोद ने सुनील को फोन कर कहा कि वह पैसे लेने आ रहा है, घर पर ही मिलना। जिससे नाराज होकर मुख्य आरोपी सुनील ने अपने दोस्तों के साथ मिलकर योजना बनाई और संगिया नारायणपुर के पास विनोद की गोली व चापड़ मारकर हत्या कर दी।

मृतक के भतीजे विजय ने बताया कि उसके चाचा विनोद ने सुनील को फोन कर उधार दिए पैसे वापस मांगे तो दोनों के बीच बहस होने लगी। इसके बाद उसके चाचा ने बताया कि वह अपने पैसे लेने सुनील के पास जा रहे है, इस बीच अगर कोई अनहोनी होती है तो उसका जिम्मेदार सुनील होगा। विजय ने बताया कि रात साढ़े ग्यारह बजे उसकी चाचा से आखिरी बार बात हुई थी, उसके बाद दोबारा कई बार फोन करने पर भी उसकी चाचा से कोई बात नहीं हुई।

जब सुबह भी उसके चाचा घर नही पहुंचे तो वह अपने चाचा को खोजने के लिए बरामदपुर लोहरा गाँव की तरफ गया, जहां गाँव से एक किलोमीटर पहले खून से लथपथ उसके चाचा का शव पड़ा हुआ था। वही पास में ही दो कारतूस भी पड़े हुए थे।

इस पूरे घटनाक्रम के बाद प्रदेश की कानून व्यवस्था पर कई तरह के सवाल उठ रहें है, सोशलमीडिया प्लेटफार्म एक्स (ट्विटर) पर भी लोगों में काफी आक्रोश देखा जा रहा है। लोगों का कहना है कि उत्तरप्रदेश में ब्राह्मणों की हत्याओं का सिलसिला रूकने का नाम नहीं ले रहा है, यह सोशलमीडिया पर फैलाई जा रही नफरत का ही नतीजा है कि एक के बाद एक ब्राह्मणों की हत्याएं की जा रही है।

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Kapil reports for Neo Politico Hindi.

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